Friday, January 22, 2016

सरकार उजागर करे नेताजी की मौत के लिए जिम्मेवार 4 गद्दारों के नाम : राजश्री

नेताजी की दोहती बोली :- सुभाष चंद्र बोस की गुमनामी के लिए लार्ड माऊंट वेटन और जवाहर लाल नेहरू की साजिश जिम्मेवार
नेताजी से जुड़े हर सच को उजागर करे प्रधानमंत्री
करनाल, 22 जनवरी (लाम्बा/का.प्र): नेताजी सुभाष चंद्र बोस के बारे में 33 महत्त्वपूर्ण फाईलों के उजागर होने से एक दिन पहले उनके परिजन भी उत्साहित थे। नेता जी की दोहती राजश्री बोस ने कहा कि  देश के सामने उन 4 गद्दारों के नाम भी उजागर किए जाने चाहिए। जो  लोग नेता जी की गुमनामी में हुई मौत के लिए जिम्मेवार है। उन्होंने बताया कि इसके लिए वह प्रथम प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू और ब्रिटिश सरकार के अंतिम गर्वनर लार्ड माऊंट वेटन की साजिश को जिम्मेवार मानती है। पहले तो यह लोग नेताजी की संपत्ति के पीछे लगे रहे। अब इसके बाद इन लोगों ने पश्चिमी राष्ट्रों से संपर्क करके नेता जी  की मौत की अफवाह फैला दी। जबकि नेताजी की मौत हवाई दुर्घटना में 1945 में नही हुई थी। इस बात की पुष्टि ताईवान सरकार ने भी की।  पंडित जवाहर लाल नेहरू के लिए नेता जी सबसे बड़़े खतरा बने हुए थे। देश माने या न माने लेकिन देशवासियों की आत्मा मानती है कि नेता जी स्वतंत्र भारत के पहले राष्ट्रपति थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उन लोगों को उजागर करें। जिन्होंने नेताजी सुभाष चंद्र बोस को जीते-जी मृत घोषित कर दिया। और इनके जिंदा सच को लोगों से छिपाया। उन्होंने तो यहां तक कहा कि उन्हें लगता है कि नेताजी की मौत के लिए भी देश के चार गद्दार जिम्मेवार है। उन्होंने प्रधानमंत्री से मांग की है कि नेताजी के सिर पर आज तक पश्चिमी राष्ट्रों ने युद्ध अपराधी का कलंक लगा रखा है। इस कलंक को धोने के लिए भारत सरकार संयुक्त राष्ट्र संघ में जाए और नेताजी को इस अपराध से मुक्त करने के लिए पहल करे। वह करनाल में एक संस्था के कार्यक्रम में आई हुई थी। यहां उन्होंने पंजाब केसरी से बातचीत करते हुए बताया कि मौत के सच को लोगों के सामने लाया जाए। उन्होने बताया कि प्रधानमंत्री मोदी पहली बार यह पहल कर रहे हैं कि नेताजी के सच से जुड़ी हुई 33 फाईलें उजागर कर रहे है। उन्होंने कहा कि सता का हस्तांतरण हुआ था। यदि नेताजी होते तो देश का बंटवारा नही होता और न ही भारत को कॉमन वैल्थ का सदस्य बनना पड़ता। उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को अंगे्रजो का एजैंट बताया। उन्होने कहा कि उस समय उनके साथ जो नेता थे। वह भी पश्चिम के एजैंट थे। जिन्होंने देश को बर्बाद करके रख दिया। देश पर काले अंग्रेज राज कर रहे हैं। आज भी ब्रिटिश सरकार के कानून चल रहे हैं। आज भारत का सेना गिरवी रखा हुआ है। इससे बडा कलंक क्या हो सकता है। आज सुभाष चंद्र बोस को देश का हर बच्चा-बच्चा याद करता है। पंडित जवाहर लाल नेहरू के प्रधानमंत्री बनने के रास्ते में सबसे बड़ी रूकावट सुभाष चंद्र बोस थे। जिन्हें गंदे तरीके से रास्ते से हटाया गया।  एक सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि मल्टीनैशनल कंपनियों के दबाव में आज भी सरकारें चल रही है। आज 70 साल से जो सच छिपाकर रखा हुआ था। उसके उजागर होने से देश में राजनीतिक भूचाल आ जाऐगा।

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